रक्षाबन्धन - 2 Rakshabandhan - 2 hindi poems hindi poetry kavita balkvita Dr. G. Bhakta Xitiz Hindu festival Indian festival happy raksha Bandhan

 रक्षाबन्धन

 राखी आने वाली है ।

 पॉकिट मेरी खाली है ।।

 बहना आने वाली है ।

 वह चिट्टी दे डाली है ।।

 आयेगी वह मेरे घर ।

 फोडेगी वह मेरा सर ।।

 ले मिठाई वह आयेगी ।

 रुपये लेकर जायेगी ।।

 कुछ पूड़ी बनवा दूंगा ।

 बस की टिकट कटा दूंगा ।।

 झटपट उसको दूसरे दिन ,

 अपने घर पहुँचा दूंगा ।।

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